खुशखबरी! UPI ब्लॉक सिस्टम के जरिए मिलेगी शेयर ट्रेडिंग की सुविधा! SEBI ने रखा प्रस्ताव

बाजार नियामक सेबी ने पात्र शेयर ब्रोकरों के लिए एएसबीए सुविधा की तर्ज पर यूपीआई आधारित ब्लॉक प्रणाली का उपयोग करके अपने ग्राहकों को शेयर बाजार में लेनदेन की सुविधा प्रदान करना

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बाजार नियामक ने इन प्रस्तावों पर 12 सितंबर तक जनता से टिप्पणियां मांगी हैं। - Live India News
फोटो: फ़ाइल बाजार नियामक ने इन प्रस्तावों पर 12 सितंबर तक जनता से टिप्पणियां मांगी हैं।

बाजार नियामक सेबी ने पात्र शेयर ब्रोकरों के लिए एएसबीए सुविधा की तर्ज पर यूपीआई आधारित ब्लॉक प्रणाली का उपयोग करके अपने ग्राहकों को शेयर बाजार में लेनदेन की सुविधा प्रदान करना अनिवार्य करने का प्रस्ताव दिया है। एएसबीए (ब्लॉक की गई राशि द्वारा समर्थित आवेदन) सेबी द्वारा विकसित आईपीओ के लिए एक आवेदन प्रक्रिया है। भाषा की खबर के अनुसार, यह आवेदन आरंभिक सार्वजनिक पेशकश (आईपीओ) लेने के लिए ग्राहक के बैंक खाते में आवेदन राशि को ब्लॉक करने का प्राधिकरण है।

ग्राहकों को मिलेगी ये सुविधा

खबर के मुताबिक यूपीआई ब्लॉक सिस्टम के तहत ग्राहक अपने बैंक अकाउंट में ब्लॉक की गई रकम के आधार पर शेयर बाजार में लेनदेन कर सकते हैं। यह सुविधा फिलहाल निवेशकों के लिए वैकल्पिक है और ट्रेडिंग सुविधा देने वाली फर्म के लिए यह जरूरी नहीं है कि वह इसे ग्राहकों को सेवा के तौर पर दे। शेयर आवंटन के लिए अकाउंट में रकम ब्लॉक करने की सुविधा एएसबीए के जरिए प्राइमरी मार्केट के लिए पहले से ही उपलब्ध है। इससे यह सुनिश्चित होता है कि निवेशक का पैसा तभी ट्रांसफर हो जब शेयर आवंटित हो।

तीन-इन-वन ट्रेडिंग खाते की सुविधा उपलब्ध है

भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (सेबी) ने बुधवार को जारी अपने परामर्श पत्र में सुझाव दिया है कि पात्र शेयर ब्रोकर्स को अपने ग्राहकों के लिए नकद खंड में यूपीआई ब्लॉक सिस्टम का उपयोग करके शेयर ट्रेडिंग की सुविधा प्रदान करनी चाहिए। सेबी ने यह भी कहा है कि शेयर ब्रोकर्स एएसबीए जैसी सुविधा को अनिवार्य बनाने के विकल्प के रूप में थ्री-इन-वन ट्रेडिंग अकाउंट की सुविधा प्रदान कर सकते हैं। ऐसे खातों में ग्राहकों के बैंक खाते में पैसा रहेगा, जिससे उन्हें शेष नकद राशि पर ब्याज मिलेगा। इसके अलावा थ्री-इन-वन सुविधा नकद और डेरिवेटिव दोनों खंडों के लिए बिना किसी राशि प्रतिबंध के उपलब्ध होगी, जबकि यूपीआई ब्लॉक सिस्टम का उपयोग करके ट्रेडिंग की सुविधा अभी केवल नकद खंड के लिए उपलब्ध होगी।

प्रस्तावों पर 12 सितंबर तक टिप्पणियां मांगी गईं

बाजार नियामक ने इन प्रस्तावों पर 12 सितंबर तक जनता से टिप्पणियां मांगी हैं। ट्रेडिंग सदस्यों को उनके परिचालन के आकार और पैमाने के आधार पर योग्य स्टॉक ब्रोकर (क्यूएसबी) के रूप में वर्गीकृत किया जाता है। क्यूएसबी के रूप में नामित होने से स्टॉक ब्रोकर की जिम्मेदारियां और दायित्व बढ़ जाते हैं। नियामक ने इस साल 1 जनवरी को शेयर ट्रेडिंग के लिए ब्लॉक मैकेनिज्म के जरिए ट्रेडिंग का बीटा वर्जन जारी किया था। हालांकि, इसे केवल कैश सेगमेंट पर ही लागू किया गया था। फिलहाल यह सुविधा निवेशकों के लिए वैकल्पिक है और ट्रेडिंग सदस्यों के लिए इसे ग्राहकों को सेवा के तौर पर देना अनिवार्य नहीं है।

खुशखबरी! UPI ब्लॉक सिस्टम के जरिए मिलेगी शेयर ट्रेडिंग की 

खुशखबरी! UPI ब्लॉक सिस्टम के जरिए मिलेगी शेयर ट्रेडिंग की सुविधा! SEBI ने रखा प्रस्ताव

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